भ्रष्टाचार का बढ़ता स्वरूप आतंकवाद से भी भयानक- शैलेंद्र मिश्र
- भ्रष्टाचार के विरुद्ध 5 अक्टूबर 2021 से सत्याग्रही सत्याग्रह पर।
- न्यायिक निर्णय की आस में सत्याग्रही सत्याग्रह करने को विवश।
सेराज अहमद कुरैशी
गोरखपुर, उत्तर प्रदेश। लोक निर्माण विभाग गोरखपुर में कैग रिपोर्ट आधारित लगभग अरबों रुपए के कारित गंभीर वित्तीय अनियमितता व आर्थिक अपराध पर शासकीय तंत्र की उदासीनता के विरुद्ध मुख्य अभियंता पीडब्ल्यूडी कार्यालय गोरखपुर के मुख्य द्वार के समक्ष विगत 823 दिनों से तीसरी आंख मानवाधिकार संगठन के बैठे सत्याग्रहियों ने कहा कि प्रदेश में बेकाबू भ्रष्टाचार
आतंकवाद से भी विद्रूप स्वरूप धारण करता नजर आ रहा है।
जो देश-प्रदेश व समाज के मूल स्वरूप व ढांचा को दीमक की भांति खोखला कर रही है।
अगर गौर किया जाए तो आतंकवाद सिर्फ मनुष्य को शारीरिक एवं मानसिक रूप से क्षतिग्रस्त करता है जबकि भ्रष्टाचार देश के मूलभूत ढांचा व विधि व्यवस्थाओं के साथ-साथ मानवीय मूल्यों एवं मूलभूत सुविधाओं को नष्ट कर अचलस्थ व कंकाल बना देता है।
ऐसे गंभीर समस्या पर शासकीय प्रशासकीय तंत्र की खामोशी लोकतांत्रिक ढांचे को आघात पहुंचाता नजर आ रहा है।
शर्म का विषय है कि शासकीय प्रशासकीय तंत्र के ऐसे उदासीनता पूर्ण दायित्वविहीन कार्य प्रणाली के विरुद्ध जन सामान्य में आक्रोश व विरोध करने की क्षमता नगण्य नजर आ रही है।
जबकि उक्त की दिशा में संगठन द्वारा सत्याग्रह के माध्यम से एक अविस्मरणीय प्रयास के रूप में भ्रष्टाचार के विरुद्ध जन जागरूकता का अभियान अक्टूबर 2021 से वर्तमान समय तक प्रचलित है।
अब देखना है कि भ्रष्टाचार जैसे गंभीर मुद्दे पर जन जागरूकता की दिशा में जन सामान्य की चेतना कब तक जागती है?
इस प्रयास से शासकीय प्रशासकीय तंत्र में बैठे भ्रष्ट नेतृत्वकर्ता व लोक सेवकों को सचेत होने की जरूरत है कि भ्रष्टाचार के प्रकाष्ठा के बाद कहीं जन सामान्य का आंदोलन उबाल ना ले ले,वरना अंग्रेजी हुकूमत के अंत की भांति भ्रष्टाचार व भ्रष्टाचारियों का अंत न हो जाए।
सत्याग्रह स्थल पर उपस्थित शैलेंद्र कुमार मिश्र, रमाकांत पांडे "राजू",डीएन सिंह, रामचंद्र दुबे, वीरेंद्र वर्मा, सतीश कुशवाहा, पवन कुमार गुप्ता, साहब राम साहनी, राष्ट्रीय लोक दल के प्रदेश महासचिव विजय यादव,आमिर यादव,आदित्य मौर्या, सत्यम जायसवाल आदि कार्यकर्ता मौजूद थे।
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