प्राइवेट बस वाले छोड़कर भागे तो गर्भवती सबीला के लिए देवदूत बनी 102 एम्‍बुलेंस सेवा - ADAP News - अपना देश, अपना प्रदेश!

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प्राइवेट बस वाले छोड़कर भागे तो गर्भवती सबीला के लिए देवदूत बनी 102 एम्‍बुलेंस सेवा

 


संतकबीरनगर, प्राइवेट बस से बिहार जा रही एक गर्भवती महिला के लिए 102 एम्‍बुलेंस सेवा के कर्मचारी देवदूत साबित हुए। उन्‍होने न सिर्फ महिला का हाईवे के किनारे प्रसव कराया बल्कि वहां से लाकर जच्‍चा – बच्‍चा को सामुदायिक स्‍वास्‍थ्‍य केन्‍द्र में भर्ती कराया। वर्तमान में जच्‍चा - बच्‍चा दोनों ही स्‍वस्‍थ हैं।

बिहार राज्‍य के सुपौल जनपद के हनुमानगर थानाक्षेत्र के छिठी गांव की निवासी 28 वर्षीया सबीला खातून पत्‍नी अमुलीन अंसारी अपने पति के साथ लुधियाना में रहती है। वह गर्भवती थी, इस दौरान उसके पिता नुरुल्‍लाह अंसारी लुधियाना गए हुए थे। नूरुल्‍लाह बताते हैं कि लुधियाना से वापसी के दौरान वह अपनी बेटी सबीला को लेकर प्राइवेट बस से अपने गांव ले जा रहे थे। मंगलवार की रात 8 बजे के करीब जब बस बस्‍ती पहुंची तो सबीला को अचानक प्रसव पीड़ा होने लगी। उन्‍होने ड्राइवर से बस रोकने को कहा तो ड्राइवर व कंडक्‍टर ने उनकी बात नहीं सुनी। खलीलाबाद से आगे बस पहुंची तो यह पीड़ा तेज हुई। इसके बाद उन्‍होने ड्राइवर से बस रोकने को कहा तो उसने बस नहीं रोकी। जब बस मगहर दुर्गा मन्दिर के पास पहुंची तो नुरुल्‍लाह के साथ ही बस में सवार लोगों ने प्रतिरोध किया तो रात में 2 बजकर 10 मिनट पर बस वाले ने उनका सामान वहीं उतारा तथा बस लेकर चला गया। हाईवे पर सबीला तड़पने लगी और नूरुल्‍लाह बेबस हो गया। इसी दौरान एक मोटरसाइकिल सवार उनको छटपटाते देखकर रुका और सलाह दिया कि 102 एम्‍बुलेंस को फोन करने की सलाह दी। नुरुल्‍लाह ने 102 एम्‍बुलेंस को फोन लगाया तथा अपनी परेशानी बतायी तो सामुदायिक स्‍वास्‍थ्‍य केन्‍द्र खलीलाबाद से 2.16 बजे काल मिलने के बाद 102 एम्‍बुलेंस के पायलट अशोक कुमार व ईएमटी दुर्गेश यादव तुरन्‍त ही एम्‍बुलेंस लेकर मगहर दुर्गा मन्दिर रवाना हुए। वहां पर पहुंचने के बाद देखा कि बच्‍चा पैदा होने वाला है। इसके बाद ईएमटी दुर्गेश ने एम्‍बुलेंस किनारे लगाकर साड़ी से आड़ किया तथा हाईवे पर ही महिला का प्रसव कराया। उसने एक बच्‍ची को जन्‍म दिया।  प्रसव कराने के बाद बच्‍चे, महिला तथा उनके पिता को एम्‍बुलेंस में डाला और सामुदायिक स्‍वास्‍थ्‍य केन्‍द्र खलीलाबाद के महिला विंग में पहुंचाया। वहां पर रात में मौजूद नर्सेज ने जच्‍चा - बच्‍चा को आवश्‍यक दवाएं दीं। जच्‍चा और बच्‍चा इस समय पूरी तरह से स्‍वस्‍थ हैं।


सड़क के किनारे ही कराना पड़ा प्रसव – दुर्गेश


102 एम्‍बुलेंस सेवा के ईएमटी दुर्गेश यादव ने बताया कि जब हम रात में 2.38 बजे एम्‍बुलेंस लेकर पहुंचे तो महिला का प्रसव शुरु हो गया था। इसलिए हमने उस महिला को एम्‍बुलेंस में नहीं बैठाया बल्कि आवश्‍यक सुविधाएं करके बाहर ही प्रसव कराया। इस दौरान हाईजीन का पूरा ध्‍यान रखा गया। एम्‍बुलेंस की मैट व रबर सीट को बिछाकर प्रसव कराने के बाद महिला को रात में 2.58 बजे सामुदायिक स्‍वास्‍थ्‍य केन्‍द्र पहुंचा दिया गया।


नर्स ने दिया टीका, पिलाया मां का पहला दूध


एम्‍बुलेंस से जब जच्‍चा बच्‍चा हास्पिटल में पहुंचे तो वहां पर मौजूद नर्स शशिकला ने अपने सहयोगियों के साथ बच्‍चे को साफ किया तथा महिला को आवश्‍यक दवाएं देने के बाद सबसे पहले एक घण्‍टे के अन्‍दर मॉ का पहला पीला गाढ़ा दूध पिलाया। यही नहीं तुरन्‍त दिए जाने वाले टीके तथा अन्‍य दवाएं बच्‍चे को प्रदान की।


अधिकारियों ने की ईएमटी की तारीफ


जिले मे 102 तथा 108 एम्‍बुलेंस सेवा के जिला प्रभारी अक्षत सिंह बताते हैं कि गर्भवती के लिए इस समय 102 एम्बुलेंस सेवा के कुल 21 वाहन हैं। इन वाहनों में प्रशिक्षित स्‍टाफ मौजूद हैं। हमारी एम्‍बुलेंस के प्रशिक्षित ईएमटी दुर्गेश यादव ने जो कार्य किया है वह बहुत ही सराहनीय है। वहीं सीएचसी खलीलाबाद के अधीक्षक डॉ राधेश्‍याम यादव ने कहा कि दुर्गेश ने जो यह समर्पण का कार्य किया है इसकी जितनी ही तारीफ की जाय वह कम होगी। निरन्‍तर इस तरह के कार्य करते रहें। इन लोगों को इस कार्य के लिए विशेष धन्‍यवाद है।


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